लखनऊ, संवाददाता।
बदायूं जनपद के सरकारी कार्यालयों में जाकर आत्मदाह जैसी घटनाएं होना आम बात हो गई हैं एक के बाद एक आत्मदाह की घटना हो रही है। अब तो जनता भी योगी सरकार से सवाल करने लगी है क्या सरकारी सिस्टम इतना सुस्त हो चुका हैए क्या जिम्मेदार अधिकारी भी तभी सुनते हैं जब इंसान आत्मदाह जैसी स्थिति को मजबूर हो जाता है। आखिर यह आत्मदाह जैसी घटनाएं सरकारी कार्यालयों में कब तक होंगी। पिछले सवा साल में एक के बाद एक करके पांच घटनाएं हो चुकी हैं जिसमें दो लोगों को जान तक गंवानी पड़ी और दो लंबे इलाज के बाद ठीक हुए। एक को आग लगाने पर रोक लिया गया। इससे लगता है कि जनता भी समझ चुकी है सिस्टम आसानी से पीड़ित की नहीं सुनता है इसीलिए आत्मदाह जैसी घटना मजबूरी की लाठी बन चुकी है। अगर सरकारी सिस्टम आगे नहीं जागा तो जनता के लिए आत्मदाह जैसी घटनाएं एक तरह से दबाव का फंडा बन जाएंगी।
बदायूं की बिसौली तहसील परिसर में शुक्रवार को डीजल छिड़कर आत्मदाह करने की किसान दिनेश ने कोशिश की। लेखपाल सहित तहसील प्रशासन की प्रताड़ना से किसान दिनेश ने आत्मदाह की कोशिश तहसील परिसर में एसडीएम के सामने की। अगर उस वक्त जरा सी निगाह चूकती तो जिले में आत्मदाह की फिलहाल में तीसरी घटना हो जाती। अच्छा हुआ एसडीएम ज्योति शर्मा की इस पर नजर पड़ गई और अर्दली सहित गार्ड से किसान दिनेश को पकड़वाकर आग लगाने से रोक लिया। एसडीएम के समझाने और सुनवाई करने के बाद दिनेश घर चला गया। किसान ने हल्का लेखपाल की प्रताड़ना को साफ.साफ बताया है। बतादें कि बिसौली तहसील परिसर की यह घटना हो या फिर इससे पहले की घटनाएं हों। सभी घटनाएं पुलिस और प्रशासन के सिस्टम में तैनात जिम्मेदारों से प्रताड़ित होने के बाद पीड़ितों ने की हैं। बिसौली की घटना के बाद समाज के लोगों ने उत्तर प्रदेश की सरकार एवं जिम्मेदार अफसरों से सवाल करना शुरू कर दिए हैं कि आखिर जनता की बात को सरकारी सिस्टम में क्यों नहीं सुनवाई की जाती है। अगर सुनवाई समय पर हो जाए तो लोगों को आत्मदाह जैसी घटना की नौबत नहीं झेलनी पड़े।
यह था मामला
शुक्रवार को बिसौली तहसील के गांव दबथरा निवासी दिनेश चन्द्र यादव पुत्र लालमन एसडीएम से शिकायत करने तहसील पहुंचा लेकिन कई घंटों तक खड़े रहने के बाद भी सुनवाई नहीं हुई। जब पीड़ित ने एसडीएम बिसौली को तहसील परिसर से जाते देखा तो सुनवाई न होने से आहत होकर एसडीएम ज्योति शर्मा के सामने डीजल डालकर आत्मदाह का प्रयास किया। तहसील परिसर में मौजूद होमगार्ड व अर्दली ने आनन फानन में युवक को पकड़ा और आग लगाने से बचाया। पीड़ित ने बताया कि लेखपाल ने उसकी जमीन पर चकरोड निकाल दिया है। शिकायत करने पर लेखपाल फर्जी मुकदमें में फंसाने की धमकी दे रहा है। जिसकी शिकायत डीएम से कीए डीएम ने एसडीएम के पास भेजा और कोई सुनवाई नहीं की। सुनवाई नही होने पर आहत होकर मजबूरन आत्मदाह का प्रयास किया। बाद में समझाकर सुनवाई का आश्वासन दिया और मामला निस्तारण की प्रक्रिया शुरू कराई। इसके बाद व्यक्ति को घर भेज दिया।
प्रकरण 01 :-(रसूलपुर के व्यक्ति ने एसएसपी कार्यालय में किया था आत्मदाह)
बदायूं में पहला आत्मदाह जुलाई 2022 में पुलिस प्रशासन की लापरवाही के चलते सिविल लाइन क्षेत्र के गांव रसूलपुर निवासी कृष्णपाल ने एसएसपी कार्यालय में आत्मदाह की कोशिश की थी। जिसमें इलाज के दौरान उसकी मौत हो गयी थी। इस मामले में चौकी प्रभारी व पूर्व चौकी प्रभारी समेत चार पुलिस कर्मी निलंवित किये गए थे।
प्रकरण 02 :-(सहसवान कोतवाल में किया आत्मदाह)
बदायूं में दूसरा आत्मदाह छह फरवरी को कोतवाली सहसवान में पुलिस की प्रताड़ना से परेशान होकर क्षेत्र के गांव केशो की मढ़ैया निवासी अनेक पाल कोतवाली पुलिस के क्राइम इंस्पेक्टर की प्रताड़ना से छुब्ध होकर आत्मदाह जैसा कदम उठाया था। 14 दिन इलाज के बाद दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में उसकी मौत हो गयी थी।
प्रकरण 03:-(सचिव के बेटा ने लगाई थी आग)
बदायूं में तीसरा आत्मदाह का मामला विकास भवन में हुआ। कोआपरेटिव सचिव के बेटे ने विकास भवन के कर्मचारियों से क्षुब्ध होकर विकास भवन में पेट्रोल डालकर आग लगा ली थी। जिसमें वह गंभीर रूप से झुलस गया था। इलाज के बाद वह ठीक हो गया।
प्रकरण 04 :-(रोजगार सेवक ने लगाई थी आग)
बदायूं में चौथा आत्मदाह का मामला कादरचौक ब्लाक कार्यालय परिसर में हुआ था। ब्लाक कार्यालय परिसर में रोजगार सेवक ने बीडीओ से प्रताड़ित होकर आत्मदाह की कोशिश की थी जिसे बचा लिया गया था। प्रशासन ने जैसे.तैसे मामले को संभाला था।
प्रकरण 05:- (बिसौली तहसील परिसर में आत्मदाह की कोशिश)
बदायूं में आत्मदाह का पांचवां मामला बिसौली तहसील परिसर का है। शुक्रवार तीन मार्च को तहसील क्षेत्र के गांव दबथरा निवासी दिनेश चन्द्र यादव पुत्र लालमन एसडीएम से शिकायत करने बिसौली तहसील पहुंचाए लेकिन कई घंटों तक खड़े रहने के बाद भी सुनवाई नहीं हुई। इसके बाद उसने आत्मदाह की कोशिश की लेकिन रोक लिया गया।
एसडीएम बिसौली की सुनिए :–..
एसडीएम बिसौली ज्योति शर्मा का कहना है कि चकरोड डलवाया जा रहा है जिसमें दिनेश चंद्र यादव का निजी ट्यूवबेल बीच में आ रहा है। जिसे हटाने के लिए बोला गया था लेकिन दिनेश ने बदायूं पहुंचकर डीएम से लिखित पत्र देकर कुछ समय मांगा था। जिसके बाद वे बिसौली आये लेकिन हम बैठक में थेए जिस कारण नहीं मिल पाये। इसी दौरान युवक ने अपने ऊपर डीजल डाल लिया। संबंधित को जांच कर कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।
डीएम की सुनिए : —
बिसौली एसडीएम ने परिसर में आत्मदाह करने के मामले की जानकारी दी थी। किसान के खेत में चकरोड़ का मामला है। एसडीएम से किसान की समस्या के निस्तारण को लगा दिया है। लेखपाल ने क्या हरकत की पूरे प्रकरण की जांच के लिए तहसीलदार बिसौली को जांच सौंपी है। जांच रिपोर्ट के बाद संबधित के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।